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Sunday, April 14, 2019

Tere Ishq Mein

 यूं उलझ गयी ज़िन्दगी तेरे आने से, 

सपने फिर देखेने लगे हम जो छुपे थे ज़माने से। 

सच्चाई से टकराके दर्द यूं उतरा निगाहों में, 

अब तू ही सुलझा दे इसे, 

यूं ही किसी तरीके से। 

एकबार आजा तू लबों पे मुस्कान बनके, 

चाहे फिरसे वापस जाने के बहाने से।

Suranya